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Now it is necessary to have Jan Aadhaar for free treatment in government hospitals of Rajasthan.

10.06.2022
राज्य भर में 1 मई से शुरू हुए एमएमएनएनआरएस के तहत सरकारी अस्पतालों में मुफ्त ओपीडी और आईपीडी सुविधाओं सहित मुफ्त सुविधाओं का लाभ उठाने के इच्छुक मरीजों को अपने साथ अपना जन आधार कार्ड रखना होगा। अब तक राज्य के अस्पताल मरीजों के पंजीकरण के लिए आधार कार्ड की मांग कर रहे थे। राज्य के स्वास्थ्य सचिव डॉक्टर पृथ्वी राज ने बताया है कि जन आधार कार्ड के जरिए राज्य सरकार रोगों का रिकॉर्ड रखेगी। इसके अलावा मुफ्त स्वास्थ्य योजना का लाभ ले रहे सभी मरीजों के इलाज और उनके डायग्नोस्टिक टेस्ट का भी रिकॉर्ड रखा जाएगा। जन आधार के जरिए उन मरीजों के बारे में भी पता चल सकेगा जो चिरंजीवी हेल्थ इंश्योरेंस स्कीम, मुफ्त दवा योजना, मुफ्ता जांच योजना समेत अन्य विभिन्न योजनाओं का लाभ ले रहे हैं।एक खास बात यह भी है कि जिन लोगों के पास जन आधार कार्ड नहीं है उनके लिए भी स्वास्थ्य विभाग ने अलग से इंतजाम किया है। अगर ऐसे मरीज खुद अस्पताल में जन आधार कार्ड के लिए रजिस्टर कराते हैं तो उन्हें मेडिकल सुपरीटेन्डेंट और मुख्य चिकित्सा अधिकारी इलाज में छूट प्रदान कर सकते हैं।

जुलाई तक, राजस्थान को सीएचसी में 100 प्राथमिक आघात देखभाल इकाइयों की उम्मीद है

04.06.2022
Jaipur: On Wednesday, officials from the transportation department announced that 100 primary trauma stabilization units were being established in community health centers around the state to provide better services to accident victims.These units are being built on areas where there have been no road accidents in the past.Officials said the aim is to stabilize an injured victim with initial care and then transfer to a higher center if needed.As part of a capacity building initiative, 100 community health centers around the state are being developed, where doctors and nursing staff will be certified on how to provide initial healthcare services to trauma victims.In 70 centres, infrastructure projects have already been completed, and the remaining work will be completed by July, according to Nidhi Singh, joint commissioner for road safety with the state transportation department.According to official reports, seven trauma units have been established in Ajmer district, four in Bhilwara and Nagaur each, two in Tonk, eight in Alwar, two in Dausa, three in Jaipur rural area, three in Jaipur rural district, three in Banswara, one in Pratapgarh, Rajasamand, three in Sikar, three in Kota, one in Jaisalmer, three in Sawai Madhopur Each year, the road safety cell aims to train 360 employees, including doctors and nurses, with 30 participants in each session.Equipment such as a trauma care crash cart, laryngoscope, ambu bag, pulmo aid (nebulizer), sterilizer, glucometer, Thomas splint, multi para monitor, patient stretcher trolleys, digital thermometers, ECG machine three channel, radiology high frequency x-ray machines, etc.

Medical Minister Parsadi Lal Meena issued orders, doctors working in all areas of the state must be in uniform

04.06.2022
चिकित्सा मंत्री ने नए आदेश जारी करते हुए कहा है कि 2 बार से ज्यादा जो भी चिकित्सा कर्मी यूनिफॉर्म में नहीं मिलेगा उसे समय बंद पदोन्नति एवं संविदा कर्मियों को 1 माह की सर्विस वृद्धि नहीं दी जाएगी। यह आदेश राज्य के सभी मेडिकल कॉलेज प्राचार्य, संयुक्त निदेशक एवं सीएमएचओ को जारी किए गए हैं। चिकित्सा मंत्री ने आदेश का कारण बता कहा गया कि यूनिफॉर्म नहीं पहनने से मरीज और उनके परिजन चिकित्सकों को पहचान नहीं पाते इस कारण कई बार उन में हाथापाई की नौबत आ जाती है, जिससे अस्पतालों का माहौल खराब हो जाता है। इस तरह कि प्रवृत्तियों पर रोक लगाने के लिए यह आदेश जारी किए गए हैं।

Change in free IPD OPD schemes running in government hospitals of Rajasthan by Chief Minister of Rajasthan Ashok Gehlot

04.06.2022
मुख्यमंत्री ने राजस्थान में सभी सरकारी अस्पतालों में आईपीडी एवं ओपीडी मरीजों के लिए निःशुल्क उपचार व निःशुल्क एमआरआई, एक्स-रे तथा सीटी स्केन की सुविधाएं शुरू करवाई थी, जिसका नाम मुख्यमंत्री निशुल्क आईपीडी-ओपीडी योजना रखा गया था। इस योजना में फेरबदल करते हुए गाइडलाइन जारी की गई है, जिसके अंतर्गत सभी मरीजों के लिए जन आधार कार्ड अनिवार्य किया जाएगा ,इसमें दो नए प्रावधान जोड़े गए है,नई गाइड लाइन के तहत यदि किसी मरीज का ओपीडी के माध्यम से भर्ती पर 10 हजार रुपए प्रति माह की दवा की जरूरत है तो संबंधित विभाग के अध्यक्ष (एचओडी) द्वारा उसकी दवा की प्रस्तावना की जाएगी। एचओडी की अनुशंसा पर वह दवा मिलेगी। यदि किसी मरीज की दवा का मूल्य 1 लाख रुपए से अधिक प्रति माह है तो उसके लिए स्वीकृति का प्रकरण एसएमएस मेडिकल कालेज स्तर पर गठित कमेटी के पास अनुशंसा के लिए भेजा जाएगा।कमेटी की अनुशंसा पर ही भर्ती मरीज के लिए दवाएं लिखी जाएंगी। योजना में ओपीडी-आईपीडी सभी मरीजों के लिए जन आधार कार्ड जरूरी रखा गया है, ऐसा नहीं होने पर उसे तुरंत जन आधार के आवेदन पर कुछ शिथिलता दी जा सकेगी।

Notice given by NHM (National Health Mission) to all Chief Medical and Health Officers of Rajasthan regarding updating CRIS software

03.06.2022
नोटिस द्वारा बताया गया की,एनएचएम योजना के तहत जितने भी स्वीकृत विभिन्न संवर्ग के संविदा पदों पर कार्यरत संविदा कार्मिकों के रीलोकेशन/नियमित नियुक्ति/सेवा समाप्ति इत्यादि पश्चात जिले में कार्यरत कार्मिकों की वस्तुस्थिति से संबंधित क्रिस सॉफ्टवेयर अपडेट नहीं किया गया है, जिससे राजस्थान सरकार को एनएचएम की मेनपावर की सूचनाएं नहीं पहुंचाई जा पा रही हैं। अतः नोटिस में निर्देश दिए गए हैं कि जिले में जितने भी एनएचएम योजना में जिला स्तरीय संविदा पदों पर कार्यरत संविदा कर्मी, जिसमें विशेष रूप से (एएनएम,जीएनएम, फार्मेसिस्ट और लैब टेक्नीशियन) अवश्य रूप से क्रिस सॉफ्टवेयर को अपडेट करना सुनिश्चित करवाएं।

Health ministry postpones NEET-PG exam 2022 by 6-8 weeks

NEET PG 2022: Supreme Court Likely To Hear Pleas On Deferment Of Medical Entrance Test On February 7

Serious negligence of doctors to meet the target

Medical workers accuse the doctor of misbehavior