Genome sequencing started at All India Institute of Medical Sciences (AIIMS), Jodhpur, will help in understanding the new form of the virus
19.07.2022
अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) जोधपुर ने इंडियन सार्स-सीओवी-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम (इन्साकोग) की सुविधा अगले सप्ताह शुरू कर देगा। डॉ. एसएन मेडिकल कॉलेज के बाद एम्स जोधपुर में भी जीनोम सिक्वेंसिंग की सुविधा शुरू हो चुकी है। माइक्रोबायोलॉजी के एडिशनल प्रोफेसर डॉ. रविशेखर ने बताया कि इन्साकोग लिए आवेदन भेजा जा चुका है। उम्मीद हैं कि अगले सप्ताह तक सुविधा शुरू हो जाएगी। एम्स में जीनोम सिक्वेसिंग की सुविधा शुरू हो चुकी है। इन्साकोग में पूरे देश के सिक्वेसिंग का डाटा रहता है।
मेडिकल कॉलेज के पास अभी ओमिक्रॉन वेरिएंट ही : ओमिक्रॉन के सब वेरिएंट के देश में कई मामले मिल चुके है। वहीं डॉ. एसएन मेडिकल कॉलेज के पास अभी तक ओमिक्रॉन के वेरिएंट ही सामने आ रहे है। बीए-2.75 जैसे सब वेरिएंट मिल रहे है। माइक्रोबायोलॉजी विभाग के सीनियर प्रोफेसर डॉ. पीके खत्री के अनुसार अभी कोई नया सब वेरिएंट सामने नहीं आया है, ओमिक्रॉन ही सामने आ रहा है। हालांकि एम्स की जीनोम सिक्वेंसिंग लैब में कई मामले मिले हैं, लेकिन फिलहाल एम्स ने इसे सार्वजनिक नहीं किया है।
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