Early Childhood Development Workshop organized at Auditorium, Center of Excellence, NMCH in Patna

06.06.2022
कार्यक्रम का उद्घाटन कार्यशाला के मुख्य अतिथि एनएमसीएच के अधीक्षक डॉ. बिनोद कुमार सिंह व विशिष्ट अतिथि पीएमसीएच के शिशु रोग विभागाध्यक्ष डॉ. ए.के. जायसवाल ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया।कार्यशाला में जन्म से तीन साल के बच्चों में शारीरिक व मानसिक कमजोरी की समय से पहचान व डायग्नोसिस कर समय से इलाज कराने पर चर्चा की गई। एनएमसीएच के अधीक्षक ने कहा कि ऐसे बच्चों की पहचान कर समय से उपचार शुरू कराने से 90 प्रतिशत से अधिक बच्चे ठीक हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि जल्द ही डीआईसी सेंटर भी बनाया जा रहा है। बच्चे जब स्वस्थ होंगे तो समाज भी मजबूत होगा।
विशिष्ट अतिथि के रूप में आए पीएमसीएच के शिशु रोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. ए.के. जायसवाल ने कहा कि सही समय पर बीमारी की पहचान व उपचार होने से बच्चे ठीक हो सकते हैं। डॉ. जी. वी. वाश्व राजा, डॉ. अतनु भद्र, डॉ. अमित कुमार, डॉ. चंद्रमोहन कुमार ने भी प्रोजेक्टर की सहायता से इस विषय पर प्रकाश डाला। आईएपी के 50 से अधिक सदस्यों ने भाग लिया। डॉ. ए.के. जायसवाल ने कहा कि ये सदस्य यहां से सीख कर अपने अपने जिलों में ट्रेनिंग देंगे। इस अवसर पर एनएमसीएच के उपाधीक्षक सह शिशु रोग विभाग के डॉ. सरोज कुमार, डॉ. अनिल तिवारी समेत कई चिकित्सक उपस्थित रहे।समय पर बीमारी की पहचान से बच्चे होंगे स्वस्थ। बच्चों के सकार्यशाला में जन्म से तीन साल के बच्चों में शारीरिक व मानसिक कमजोरी की समय से पहचान व डायग्नोसिस कर समय से इलाज कराने पर चर्चा की गई। एनएमसीएच के अधीक्षक ने कहा कि ऐसे बच्चों की पहचान कर समय से उपचार शुरू कराने से 90 प्रतिशत से अधिक बच्चे ठीक हो सकते हैं। उन्होंने कहा कि डीआईसी सेंटर भी बनाया जा रहा है। बच्चे जब स्वस्थ होंगे तो समाज भी मजबूत होगा।विशिष्ट अतिथि के रूप में आए पीएमसीएच के शिशु रोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. ए.के. जायसवाल ने कहा कि सही समय पर बीमारी की पहचान व उपचार होने से बच्चे ठीक हो सकते हैं।सेंटर ऑफ एक्सीलेंस होगा डीआईसी, एनएमसीएच में चल रहा निर्माण,कुछ बच्चों में देखा गया है कि उम्र बढ़ने के साथ उनमें चलने, बोलने या सुनने समेत मानसिक विकास नहीं हो पाता है। ऐसे बच्चों में सही समय से बीमारी की पहचान व उपचार के लिए एनएमसीएच के सेंटर ऑफ एक्सीलेंस परिसर में डीआईसी (डिसएबिलिटी अर्ली इंटरवेंशन सेंटर) का निर्माण कार्य चल रहा है। इस संबंध में एनएमसीएच अधीक्षक डॉ. बिनोद कुमार सिंह ने बताया कि यह सेंटर बिहार का सेंटर ऑफ एक्सीलेंस होगा। उम्मीद है कि छह-सात माह में बन कर तैयार हो जाएगा। इसका निर्माण बीएमएसआईसीएल के द्वारा कराया जा रहा है। सेंटर पर बच्चों की स्क्रीनिंग, पहचान व चिकित्सीय सेवा प्रदान की जाएगी। एनएमसीएच के उपाधीक्षक डॉ. सरोज कुमार ने बताया कि सेंटर में फिजियोथेरेपिस्ट, ऑपथेलमोलाॅजिस्ट, ईएनटी समेत विभिन्न विभागों के डॉक्टर रहेंगे। इसका निर्माण कार्य एमसीएच भवन के बगल में चल रहा है।

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