All India Institute of Medical Sciences (AIIMS) Bhopal will conduct brain cancer and brain tumor operations with the help of gamma knife from next few months.
16.06.2022
अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) भोपाल में अगले कुछ महीनों में दिमाग के कैंसर और और ब्रेन ट्यूमर के ऑपरेशन गामा नाइफ की मदद से किए जाएंगे। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने एम्स में गामा नाइफ के लिए स्वीकृति दी है। इस सुविधा के शुरू होने से ब्रेन ट्यूमर के मरीजों को महीनों दर्द सहन नहीं करना पडे़गा। इस एडवांस तकनीक से होने वाली सर्जरी में मरीजों को जल्दी अस्पताल से छुट्टी मिल सकेगी। एम्स भोपाल मप्र में पहला और देश में छठवां ऐसा सरकारी चिकित्सा संस्थान होगा जहां इस अत्याधुनिक गामा नाइफ का उपयोग किया जाएगा।एम्स प्रबंधन की मानें तो करीब 85 करोड़ रूपए की लागत से गामा नाइफ मशीन खरीदी जाएगी। केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय से वित्तीय सहमति भी मिल गई है। इस मशीन से ऑपरेशन के बाद इन्फेक्शन रेडियस 0.01 प्रतिशत ही रह जाता है। इसमें ब्रेन की ट्रेडिंग वेन यानी खून ले जाने वाली शिरा को छेड़े बिना सीधे टयूमर के डीएनए को नष्ट किया जाएगा। इससे ब्रेन में ना सूजन आएगी। इस नाइफ से होने वाली सर्जरी में ना कोई घाव होगा ना ही मरीजों को ब्रेन हेमरेज का खतरा होगा। मरीज को अस्पताल से भी जल्दी छुट्टी मिल जाएगी।एम्स भोपाल की तरफ से केन्द्र सरकार को गामा नाइफ का प्रस्ताव 2019 में भेजा गया था। लेकिन कोरोना के संकट के कारण मामला अटक गया था। अब इसे मंजूरी मिली है। इससे पहले एम्स दिल्ली, सफदरजंग अस्पताल, पीजीआई चंढीगढ़ सहित अन्य अस्पतालों में गामा नाइफ की सुविधा है। इस मशीन के जरिए दिमाग के अंदरूनी हिस्से में भी छुपे कैंसर कारक ट्यूमर को खुद खोजता कर उसे खत्म कर देता है। गामा नाइफ से ब्रेन ट्यूमर, ब्रेन कैंसर, ट्रिगमाइनल न्यूरेलजिया (नस की बीमारी), एकोस्टिक न्यूरोमा (नस की बीमारी) जैसी गंभीर बीमारियों का इलाज हो सकेगा।